सांकेतिक भाषा केवल बधिरों की ही नहीं, सभी की भाषा बने-राज्यपाल

चंडीगढ़, 3 सितंबर। राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने कहा कि नई शिक्षा नीति में सांकेतिक भाषा सिखाने व सीखने पर बल दिया गया है।

यह सांकेतिक भाषा केवल बधिरों की ही नही बल्कि सभी की भाषा बने।

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मूक-बधिर निशक्तजनों को नई उम्मीद जगाई है।

इंडियन साइन लैंग्वेज को भाषा के रूप में मान्यता देकर बधिर लोगों के कल्याण का मार्ग प्रशस्त किया है।

उन्होंने कहा कि दिव्यांगजनों के हितों का ध्यान रखते हुए कई कल्याणकारी योजनाएं शुरू की गई हैं।

इसके अलावा, नौकरियों में आरक्षण को भी 3 % से बढ़ाकर 4 % किया गया है।

वे आज गुरूग्राम के श्रवण एवं वाणी निशक्तजन कल्याण केन्द्र का अवलोकन करने आए थे।

उन्होंने दो परियोजनाओं, बहुउद्देश्यीय हॉल तथा स्कूल विंग का उद्घाटन तथा ‘नींव आधार भवन‘ का शिलान्यास किया।

बहुउद्देश्यीय हॉल का नाम केन्द्र के संस्थापक डा. बी एन चक्रवर्ती के नाम पर रखा गया है।

उन्होंने डिजीटल साईन लैंग्वेज लैब तथा अर्ली इंटरवेंशन सैंटर का भी निरीक्षण किया।

राज्यपाल ने केन्द्र में शिक्षारत विद्यार्थियों द्वारा बनाए गए उत्पादों की प्रदर्शनी को भी देखा।

दत्तात्रेय ने कहा कि सरकार ने केन्द्र सरकार की योजनाओं को प्रदेश में बेहतर तरीके से लागू किया है।

उन्होंने बताया कि यह पूरा महीना मूक-बधिर समुदाय के कल्याण के लिए समर्पित है।

एक अनुमान के अनुसार भारत मे 50 लाख मूक-बधिर हैं।

हरियाणा में इनकी संख्या लगभग एक लाख 15 हजार है।

उन्होंने कहा कि बधिरों को सुनने की समस्या का सामना करना पड़ता है।

यह समस्या सब के लिए चुनौती है।

इस चुनौती का सामना करने के लिए हम सभी को सामुहिक प्रयास करने होंगे।

मूक-बधिर निशक्तजनों को संबोधित करते हुए राज्यपाल दत्तात्रेय भावुक हो गए।

उन्होंने यहां तक कहा कि दिव्यांगजनों में भगवान ने कमी छोड़ी है परंतु आप में अद्भुत शक्ति है।

उन्होंने कहा कि आप अपनी काबिलियत में विश्वास रखें , हिम्मत रखें।

आप समाज के अभिन्न अंग हैं और यदि मौका मिलें तो आप अच्छे कलेक्टर, वैज्ञानिक भी बन सकते हैं।

उन्होंने कहा कि इस कल्याण केन्द्र में तैयार उत्पादों की मार्किटिंग करवाने का वे प्रयास करेंगे।

साथ ही उन्होंने गुरूग्राम के इस सैंटर को सरकार से भी मदद दिलवाने का आश्वासन दिया।

गुरूग्राम केन्द्र के चेयरमैन डा. यश गर्ग ने कहा कि केन्द्र की नींव 1971 में रखी थी।

इन पिछले 50 वर्षों में इस केन्द्र में दिन-प्रतिदिन तरक्की व उन्नति के नए प्रयोग हुए हैं।

कार्यक्रम में केन्द्र के विद्यार्थियों ने लघु नाटिका की प्रस्तुति भी दी जिसे दर्शकों ने खूब सराहा।

इस मौके पर केन्द्र के बधिर प्रशिक्षक दीपक द्वारा बनाई गई बंडारू दत्तात्रेय की पेंटिंग भी भेंट की गई।

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