बेंगलुरु, 10 अक्टूबर। हिमाचल प्रदेश के तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी ने आज बेंगलुरु में कर्नाटक के उप-मुख्यमंत्री डी.के शिवकुमार के साथ शिष्टाचार भेंट की।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में हाइड्रो पावर, तकनीकी शिक्षा और कौशल विकास में निवेश की अपार संभावनाएं हैं और इन क्षेत्रों में संयुक्त उद्यम स्थापित करने की दिशा में कार्य करने की आवश्यकता है।
तकनीकी शिक्षा मंत्री ने कहा कि हिमाचल को आत्मनिर्भर प्रदेश बनाने के लिए प्रदेश सरकार राज्य के संसाधनों का समग्र उपयोग सुनिश्चित कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार पर्यावरण संरक्षण के साथ-साथ जल विद्युत और नवीकरणीय ऊर्जा का दोहन करने पर विशेष ध्यान केंद्रित कर रही है और राज्य में हरित उद्योगों को बढ़ावा दिया जा रहा है।
डी.के शिव कुमार ने तकनीकी शिक्षा मंत्री को इन क्षेत्रों में संयुक्त रूप से कार्य करने का आश्वासन दिया।
इसके बाद तकनीकी शिक्षा मंत्री ने कर्नाटक के इलेक्ट्रॉनिक डिलीवरी ऑफ सिटीजन सर्विसेज निदेशालय का दौरा कर सिटीजन सर्विस सेवा के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी प्राप्त की। ईडीसीएस के माध्यम से लोगों को तकनीकी रूप से एकीकृत तरीके से 850 से अधिक सेवाएं प्रदान की जाती है। उन्होंने कहा कि हिमाचल के लोगों को घर-द्वार पर बेहतर सेवाएं उपलब्ध करवाने के लिए इस तरह के नवाचार अपनाने के प्रयास किए जाएंगे।
राजेश धर्माणी ने कर्नाटक में तकनीक कौशल विकास और सूचना प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में किए जा रहे विविध आयामों को जानने के लिए टीम लीज डिजिटल प्राइवेट लिमिटेड कर्नाटक के सीईओ नीति शर्मा से भेंट की। इस अवसर पर तकनीकी शिक्षा मंत्री ने उद्योग आधारित कुशल कार्यबल और पाठ्यक्रमों सहित विभिन्न विषयों पर चर्चा की। प्रदेश व कर्नाटक सरकार के वरिष्ठ अधिकारी भी इस अवसर पर मौजूद थे।