ऋषिकेश, 15 जुलाई। केंद्रीय विद्युत मंत्री तथा आवास एवं शहरी कार्य मंत्री मनोहर लाल ने आज सोमवार को उत्तराखंड के टिहरी गढ़वाल में 2400 मेगावाट के टिहरी पावर कॉम्प्लेक्स में चल रहे कार्यों का निरीक्षण किया।
इस दौरान केंद्रीय मंत्री ने 1000 मेगावाट के टिहरी पंप स्टोरेज प्लांट (पीएसपी) में चल रही निर्माण गतिविधियों का निरीक्षण किया, जो टीएचडीसीआईएल की एक प्रमुख परियोजना है। साथ ही जो देश में अक्षय ऊर्जा के बुनियादी ढांचे का एक महत्वपूर्ण घटक भी है। मंत्री ने बटरफ्लाई वाल्व चैंबर, मशीन हॉल और टिहरी पीएसपी के आउटफॉल सहित कई प्रमुख कार्य क्षेत्रों का विस्तृत निरीक्षण किया और नदी संयोजन कार्यों की प्रगति की भी समीक्षा की, जो पीएसपी की मौजूदा जल प्रबंधन प्रणालियों को एकीकृत करने का एक महत्वपूर्ण पहलू है।
मनोहर लाल ने टीएचडीसी टीम की महत्वपूर्ण उपलब्धियों और 2400 मेगावाट के टिहरी पावर कॉम्प्लेक्स के विकास में उनके द्वारा स्थापित उच्च मानकों की सराहना की। साथ ही कहा कि किस प्रकार टीएचडीसीआईएल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 2047 तक विकसित भारत के विजन के साथ आगे बढ़ी रही है। उन्होंने कहा, “टिहरी बांध टीएचडीसीआईएल के लिए एक उल्लेखनीय माइलस्टोन है, जो ऐसे समय में पूरा हुआ जब इस तरह के विशाल बांध का विचार लगभग अकल्पनीय लगता था। टिहरी बांध का विकास किसी चमत्कार से कम नहीं है और अपने आप में एक इंजीनियरिंग मारवेल है”।
टीएचडीसी प्रबंधन और कर्मचारियों को संबोधित करते हुए मंत्री ने जलवायु परिवर्तन से निपटने और राष्ट्र की ऊर्जा सुरक्षा में सहयोग प्रदान करने में जलविद्युत के रणनीतिक महत्व पर जोर दिया।
टीएचडीसीआईएल के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक आर. के. बिश्नोई ने भारत के लिए एक सतत ऊर्जा भविष्य में योगदान देने के व्यापक मिशन के हिस्से के रूप में टिहरी पावर कॉम्प्लेक्स और अन्य नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाओं को आगे बढ़ाने के लिए टीएचडीसीआईएल की प्रतिबद्धता दोहराई।